ट्रेंच विधि से करें गन्ने की बुवाई,सहफसली के साथ करें अतरिक्त आय।
कृषि विज्ञान केंद्र सोहना में आयोजित कार्यक्रम में किसानों को किया गया प्रशिक्षित।
रिपोर्टः मनोज शुक्ला
सिद्धार्थनगर।शुक्रवार को कृषि विज्ञान केंद्र सोहना में गन्ना विकास विभाग द्वारा आत्मा योजना अंतर्गत दो दिवसीय का प्रशिक्षण का शुभारंभ किया गया जिसमें केंद्र के कृषि वैज्ञानिक डॉ प्रदीप कुमार फसल सुरक्षा ने किसानों को प्रदेश में स्वीकृत प्रमुख जातियां जिसमें शीघ्र पकने वाली को.शा. 0238 0118 को।शा 08272 मध्य देर से पकने वाली को.शा 08279 को.शा. 11453 जल प्रभावित क्षेत्र हेतु यूपी 9530 को.शा. 96436 बुवाई के उपयुक्त समय बीज गन्ना चुनाव व मात्रा पर चर्चा करते हुए किसानों को जागरूक किया। गन्ना विभाग के रवि प्रताप त्रिपाठी गन्ना पर्यवेक्षक / प्रचार ने गन्ना विकास विभाग में चल रहे योजना व राष्ट्रीय कृषि विकास योजना में आधार व प्राथमिक पौधशाला ओं में बीज वितरण पर मिलने वाले अनुदान एवं जैविक खेती पर चर्चा की । केंद्र के कृषि वैज्ञानिक डॉ एस एन सिंह ने गन्ना की अधिकतम उत्पादन प्राप्त करने के लिए पशुओं की गोबर की खाद जैविक खाद का प्रयोग गन्ने की फसल में प्रयोग पर बल दिया। गन्ना विभाग के रवि प्रकाश चौधरी ने गन्ने में लगने वाले कीट व रोग जैसे गन्ना का चोटी बेधक कीट, मिलीबग, शूट बोरर ग्रासापर, दीमक और रोग में पीला धब्बा रोग, गन्ने का लाल सड़न के लक्षणों को बताते हुए उसका जैविक निदान और रासायनिक उपचार पर चर्चा किया। वही गन्ना विभाग के शेष नारायण त्रिवेदी ने गन्ने की बुवाई के बारे में पंक्ति से पंक्ति की दूरी , खाद की मात्रा सिंचाई , गुड़ाई पर बल दिया। डॉ एस के मिश्रा ने गन्ने की पेड़ी के जातियों का चयन फसलों का चुनाव गन्ने के साथ अंता फसलें के चुनाव पर किसान को जागरूक किया। प्रगतिशील किसान में श्रीराम यादव मुकेश मिश्रा जगत यादव विवेक सिंह मोहम्मद रफीक अजय वर्मा आदि मौजूद रहे।